08
May
बापूजी के शिष्यों की संख्या करोड़ों में है। उनमें से ये 8-10 लोग आश्रम और बापूजी के खिलाफ बोलते हैं। वे जो कह रहे हैं वह इसलिये नहीं कि उन्हें आश्रम में रहने के दौरान बुरे अनुभव हुए थे बल्कि इसलिये कि वे स्वयं षड़यंत्र में शामिल हैं और इसीलिए वे बापूजी जैसे सच्चे संत और पवित्र आश्रम के खिलाफ झूठे और निराधार आरोप लगा रहे हैं। अब आप खुद ही अंदाजा लगा सकते हैं कि इन षड़यंत्रकारियों के झूठे आरोपों का कोई महत्व है या नहीं!
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